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गाजीपुर: ताड़ीघाट-मऊ रेल लाइन के विस्तार को लगे पंख

गाजीपुर ताड़ीघाट से गाजीपुर होते मऊ को जोड़ने के लिए रेलवे लाइन का विस्तार
गाजीपुर न्यूज़ टीम, गाजीपुर ताड़ीघाट से गाजीपुर होते मऊ को जोड़ने के लिए रेलवे लाइन का विस्तार करने की वर्षों पुरानी मांग पूरी होने की उम्मीद नजर आने लगी है। रेलवे लाइन बिछा कर मऊ को गाजीपुर से जोड़ने के लिए आरवीएनएल की टीम ने काफी गंभीरता के साथ सर्वे का कार्य शुरू कर दिया है। इंजीनियरों की टीम ने अत्याधुनिक यंत्रों, सेटेलाइट आदि के साथ जिले में डेरा डाल लिया है। एक महीने तक लगातार चलने वाले सर्वे में टीम रेल रूट, स्टेशन आदि का खाका खींचेगी। इसके बाद निर्माण कार्य शुरू होने की संभावना है। सर्वे के लिए टीम ने उतरौली व सुहवल को मुख्य नियंत्रण केंद्र बनाया है।


ताड़ीघाट से गाजीपुर होते मऊ को रेलवे लाइन से जोड़ने की योजना को मूर्त रूप देने के लिए 19 मार्च को आरवीएनएल के सीएमडी सतीश अग्निहोत्री के नेतृत्व में आधा दर्जन अधिकारियों की टीम आई थी। हमीद सेतु के बगल में रेलवे पुल के निर्माण के लिए टीम ने नाव से गंगा में घूम कर घंटों सर्वे किया था। पुल बनाकर गाजीपुर होते मऊ तक रेलवे लाइन बिछाने की दिशा में सर्वे करने के लिए रविवार कि देर शाम आरवीएनएल पटना की स्काईलार्क डिजाइनिंग एवं इंजीनियरिंग टीम ने जिले में डेरा डाल लिया।


इस टीम में सात इंजीनियर अत्याधुनिक सेटेलाइट, सेंसर डिश एंटीना, जीपीएस युक्त मशीनों से लैस सिटी रेलवे स्टेशन, घाट स्टेशन का सर्वे किया। इसके बाद ताड़ीघाट रेलवे स्टेशन का सर्वे किया। टीम ने सुहवल थाने के पास ताड़ीघाट-बारा रोड के किनारे कोल्हूबीर बाबा के स्थान के पास और उतरौली स्थित नहर के पास  मुख्य नियंत्रण बिन्दु स्थापित किया। यहीं से टीम सर्वे कार्य की देखरेख करेगी। यह सर्वे का कार्य लगभग एक माह में पूरा होना है।


सर्वेयर टीम के इंजीनियर आकाश वर्मा ने बताया कि ताड़ीघाट, गाजीपुर होते मऊ तक रेल लाइन का विस्तार करने के लिए सर्वे कार्य चल रहा है। सुहवल और उतरौली में सर्वे का नियन्त्रण केन्द्र बनाया गया है। उन्होंने बताया कि जीपीएस लैस मशीन के दाहिने तरफ सेंसर, ऊपरी हिस्से पर  सेटेलाइट और नीचे बाये तरफ डिश एन्टीना लगा है जो कि जो कि कंप्यूटर द्वारा संचालित है। इसके जरिये ही रेलवे लाइन के विस्तारीकरण के लिए स्थलीय मृदा परीक्षण के साथ ही समुंद्र तल से स्थलीय ऊंचाई का पता लगाया जा सकता है। सर्वे के कार्य के लिए कुल 16 जगह नियंत्रण बिंदु बनाए गए हैं जिनमें मुख्य नियंत्रण बिन्दु सुहवल एवं उतरौली को बनाया गया है। उन्होंने बताया कि यदि सब कुछ ठीक ठाक रहा तो गर्मी में सर्वे कार्य को अंतिम रूप दे दिया  जाएगा। सर्वे कि रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को दी जा रही है। सर्वे में इंजीनियर मुकेश कुमार, शहनवाज खान, नुमान अजहर लगे हैं।


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