बलिया में निजी चैनल के पत्रकार की गोली मारकर हत्या, आक्रोश, चक्काजाम के बाद थानेदार निलंबित
गाजीपुर न्यूज़ टीम, बलिया। बलिया के फेफना में निजी चैनल के पत्रकार की सोमवार की रात गोली मारकर हत्या कर दी गई। फेफना थाना से करीब 500 मीटर वारदात को अंजाम दिया गया। 40 वर्षीय रतन सिंह ने हमलावरों से बचने के लिए भागने की कोशिश की लेकिन दौड़ाकर गोली मार दी गई। देर रात तक शव गांव पर ही था। पुलिस छानबीन में जुटी है। मौके पर एसपी देवेन्द्र नाथ, एएसपी संजय कुमार, सीओ आदि के साथ भारी संख्या में पुलिस बल पहुंच गया था।
रतन सिंह सोमवार को पूरे दिन जिला मुख्यालय पर रहने के बाद शाम को फेफना स्थित अपने गांव चले गए। शाम को गांव में ही किसी के यहां बैठने के बाद पैदल ही वापस घर जा रहे थे। तभी कुछ लोगों ने उन पर फायर झोंक दिया। ग्रामीणों के अनुसार जान बचाने के लिए रतन ग्राम प्रधान के घर में घुस गए लेकिन हमलावरों ने पीछा नहीं छोड़ा और एक-एक कर तीन गोलियां दाग दीं। इससे रतन की घटनास्थल पर ही मौत हो गयी।
घटना का कारण फिलहाल स्पष्ट नहीं हो सका है। बताया जाता है कि कुछ दिनों पहले रतन का उनके पट्टीदारों से किसी बात को लेकर विवाद हुआ था। तब उन्होंने जान से मार देने की धमकी भी दी थी। हालांकि परिवार वालों की ओर से अबतक कोई तहरीर नहीं दी गयी। फेफना एसओ शशिमौली पांडे ने बताया कि छानबीन की जा रही है। हत्यारों को जल्द ही पकड़ लिया जाएगा।
सोमवार की रात हत्या के बाद परिजनों और ग्रामीणों के साथ ही कई पत्रकार और विभिन्न संगठन के लोग सड़क पर उतर गए। लोगों ने आरोप लगाया कि स्थानीय पुलिस की निष्क्रियता से घटना को अंजाम दिया गया है। पुलिस ने किसी तरह लोगों को समझाया और एसओ को निलंबित करने की घोषणा कर लोगों को शांत किया।
रतन सिंह की उनके गांव में ही सोमवार की रात गोली मारकर हत्या कर दी गई। वारदात को तब अंजाम दिया गया जब वह गांव में ही किसी के यहां बैठने के बाद पैदल ही वापस घर जा रहे थे। ग्रामीणों के अनुसार अपने ऊपर हमला होते ही जान बचाने के लिए रतन सिंह ग्राम प्रधान के घर में घुस गए। इसके बाद भी दुस्साहसिक हमलावरों ने पीछा नहीं छोड़ा और एक-एक कर तीन गोलियां उन्हें मार दी। इससे रतन की घटनास्थल पर ही मौत हो गयी।
वारदात की खबर लगते ही पुलिस प्रशासन के आला अधिकारियों के साथ ही कई पत्रकरा और विभिन्न संगठनों के लोग मौके पर पहुंच गए। लोगों ने फेफना-रसड़ा मार्ग को जाम कर दिया। लोग आरोपियों की गिरफ्तारी और एसओ फेफना शशिमौली पांडेय को बर्खास्त करने की मांग करने लगे। परिजनों ने फेफना पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाया।
मौके पर पहुंचे एसपी ने एसओ फेफना शशिमौली पांडेय को सस्पेंड करने और जांच के बाद अन्य पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई का भरोसा देकर जाम समाप्त कराया। फिलहाल घटना का कारण स्पष्ट नहीं हो सका है। पुलिस के अनुसार पट्टीदारों से उनका विवाद चल रहा था। तीन लोगों को हिरासत में लिया गया है। हालांकि परिवार वालों की ओर से देर रात तक कोई तहरीर नहीं दी गई थी।

