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आजमगढ़ में आग का तांडव, 74 कच्चे मकान खाक, झुलसने से दो बच्चों की मौत

गाजीपुर न्यूज़ टीम, आजमगढ़. उत्तर प्रदेश के महराजगंज थाना क्षेत्र के नौबरार देवारा जदीद किता प्रथम के सात पुरवों में रविवार को आग का कहर जमकर बरसा। अगलगी की इस घटना में दो बच्चों की झुलसकर मौत हो गई। एक छोटी सी बस्ती से शुरू हुई आग ने एक के बाद एक कर 74 कच्चे मकान को अपने आगोश में ले लिया। घटना में लोगों के घरों में रखे सिलिंडर और अन्य ज्वलनशील पदार्थों ने आग में घी का काम किया। तेज धमाकों के साथ कई सिलिंडरों के फटने से चारो तरफ दहशत फैल गई।

चारों तरफ अफरा-तफरी का माहौल दिखा। लोग जान बचाने के लिए इधर-उधर भागते नजर आए। घंटों की मशक्कत के बाद किसी तरह आग पर काबू पाया गया। बता दें कि बाढ़ क्षेत्र में होने के कारण दियारा क्षेत्र के सभी गांवों में ज्यादातर मकान कच्चे हैं। बड़ी संख्या में लोग दीवार पर छप्पर डालकर जीवन गुजार रहे हैं। क्षेत्र के देवारा जदीद किता प्रथम गांव की हालत इससे अलग नहीं है। रविवार को गांव के एक छोटे से पुरवे में स्थिति छप्पर के मकान में आग लगी। जब तकलोग आग पर काबू पाते तेज हवा के चलते आग ने आसपास के मकानों को अपनी चपेट में ले लिया।


आग में खाक हुए 74 घर

लोग बुझाने का प्रयास करते रहे लेकिन आग बेकाबू हो गई और धीरे-धीरे लगभग एक किलोमीटर क्षेत्र में फैले लगभग 74 घरों को अपनी चपेट में ले लिया। आग का भयावह रूप देख चारों तरफ अफरातफरी मच गई। लोग जान बचाकर भागते नजर आए। स्थानीय लोगों ने फायर ब्रिगेड को सूचना दी लेकिन विभाग की टीम जब तक पहुंचती आग ने भयावह रूप ले लिया। अपनी गृहस्थी जलकर खाक होता देख लोग परेशान हो उठे और जो बच सके उसे बचाने की कवायद में जुट गए।


सिलेंडरों से हुए धमाकों से दहला इलाका

लोगों के घरों में रखे गैस सिलिंडर और अन्य ज्वलनशील पदार्थ आग की चपेट में आये तो धमाके शुरू हो गए। फिर क्या था पूरा क्षेत्र दहल उठा। कई सिलिंडरों के धमाके के साथ फटने की भी बात सामने आ रही है लेकिन किसी भी अधिकारी ने इसकी पुष्टि नहीं की है। अचानक अगलगी की घटना में जो जिस हाल में था वह वैसे ही घरों से बाहर निकाल कर खुद को सुरक्षित करने में जुट गया। जब तक राहत कार्य शुरू होता तब तक काफी देर हो चुकी थी।


अगलगी की जानकारी होने पर एसडीएम सगड़ी गौरव कुमार व सीओ सगड़ी राजेश तिवारी भी मौके पर पहुंच गए। राहत बचाव का पूरा प्रयास किया गया लेकिन कोई सफलता नहीं मिली। आग पर काबू पाए जाने के बाद एक घर से दो मासूम बच्चे पांच वर्षीय मुस्कान और तीन वर्षीय अवनीश गंभीर रूप से जले मिले। जिन्हें अस्पताल ले जाया गया लेकिन चिकित्सक ने मृत घोषित कर दिया। कई मवेशियों के भी जल कर मरने की बात सामने आयी है लेकिन हालात इतने खराब हैं कि कोई कुछ बोल पाने की स्थिति में नहीं है।


दो घंटे बाद पहुंची फायर ब्रिगेड

स्थिति की भयावहता का अंदाजा इस बात से लगा सकते हैं कि तन का कपड़ा छोड़ किसी के पास कुछ नहीं बचा है। दो बच्चों की मौत से गांव में कोहराम मचा है। सूचना मिलने के बाद भी फायर ब्रिगेड की टीम दो घंटे के बाद मौके पर पहुंची जिससे लोगों में गुस्सा भी है। अधिकारी क्षति का आकलन कराने में जुटे है। वहीं पीड़ित परिवारों की मदद के लिए राशन आदि की व्यवस्था की जा रही है।

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