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Ghazipur: तत्काल टिकट के लिए गाजीपुर सिटी स्टेशन पर गुजारी रात

गाजीपुर न्यूज़ टीम, गाजीपुर. अनलॉक के बाद सीमित ट्रेनों का ही परिचालन होने के कारण रिजर्वेशन टिकट मिलना मुश्किल हो गया है। स्थिति यह है कि विभिन्न रूटों पर जो ट्रेनें चल रही हैं उनमें मार्च तक सीटें फुल हैं। टिकट कंफर्म न होने के कारण लोगों के सामने तत्काल टिकट ही एकमात्र विकल्प है, वह भी मिलना मुश्किल है। इसके लिए मारामारी चल रही है। लोग कतार लगाते हैं लेकिन टिकट खिड़की खुलने के कुछ ही बाद पता चलता है कि सभी तत्काल टिकट बुक हो चुके हैं। सोमवार की रात 11 बजे जब गाजीपुर न्यूज़ टीम ने सिटी स्टेशन पर पड़ताल की तो सुबह जल्दी तत्काल टिकट लेने के प्रयास में आठ लोग टिकट खिड़की के सामने कतार में सोए हुए मिले मिले। रेलवे कर्मचारियों ने बताया कि यह प्रतिदिन का हाल है। तत्काल टिकट के लिए रोज भीड़ जुट रही है।

गाजीपुर सिटी रेलवे स्टेशन पर रात 11 बजे ठंड के चलते सन्नाटा पसरा था। मुख्य गेट से लेकर प्लेटफार्म नंबर एक और दो पर कोई यात्री मौजूद नहीं था। स्टेशन अधीक्षक कक्ष पर देर शाम से ही ताला लटक रहा था। तत्काल टिकट के लिए कुल आठ लोग टिकट खिड़की के बाहर नंबर लगा कर लेटे हुए थेे। रात में ट्रेन पकड़ने वाले पांच रेलवे स्टेशन के पास अलाव ताप रहे थे। यात्री निवास में छह लोग सोए थे। कुछ के पास कंबल और रजाई थी तो कुछ शाल ओढ़े ठिठुरते नजर आए। स्टेशन के दूसरे गेट पर टिकट खिड़की के सामने रात 11.10 बजे गलन और सर्द हवा के बीच तत्काल टिकट के लिए अरुण कुमार सिंह (55) और शैलेश यादव (32) मौजूद थेे। दिल्ली जाने के लिए वे तत्काल टिकट लेने पहुंचे थे। 


दोनों ने रेलवे स्टेशन के बाहर खुली चाय की दुकान पर 12 बजे तक तीन बार चाय पी चुके थे। वहीं 11:15 पर अभिषेक और राहुल अपने पिता के साथ प्लेटफार्म नंबर एक पर ट्रेन के इंतजार में रेलवे स्टेशन के बाहर अलाव ताप रहे थे। 11.19 बजे कुछ यात्री ट्रेन के आने से पहले टिकट लेने के लिए खिड़की खुलने का इंतजार करते देखे गए। रेलवे स्टेशन परिसर में बने अस्थायी रैन बसरे में 15 लोग ठहरे मिले। उन्हें विस्तर और रजाई उपलब्ध कराई गई थी। कुछ लोगों को आधार न होने के कारण रैन बसेरे में नहीं ठहरने दिया गया और वे ठंड से ठिठुरते नजर आए।


कई ट्रेनों का परिचालन बंद होने से बढ़ी समस्या

गाजीपुर सिटी रेलवे स्टेशन से कुल 32 जोड़ी ट्रेनें चलती हैं। इनमें सात जोड़ी सवारी गाड़ियां शामिल हैं लेकिन सवारी गाड़ियों और एक्सप्रेस ट्रेनों में वैष्णो देवी, छपरा-लखनऊ, हरिहरनाथ, बरैनी गोंदिया और भ़ृगु एक्सप्रेस का परिचालन बंद है। इससे लोगों का परेशानी हो रही है। उधर, पीडीडीयू- दानापुर रेल खंड पर 42 ट्रेनें चलती थी लेकिन वर्तमान में आठ ट्रेनें ही चल रही हैं। इन दिनों जमानिया रेलवे स्टेशन पर तत्काल टिकट के लिए सिर्फ एक काउंटर खुलता है लेकिन एक-दो यात्रियों को ही टिकट मिल पाता है। यही हाल औड़िहार रेलवे जंक्शन और मुहम्मदाबाद रेलवे स्टेशन का है।


ड्यूटी पर न सिपाही मिले, न थानेदार

कड़ाके की ठंड ने सबको ठिठुरने को विवश कर दिया है। हमेशा ड्यूटी पर तैनात रहने वाले आरपीएफ और जीआरपी के सिपाही भी सोमवार की रात स्टेशन पर नजर नहीं आए। गाजीपुर सिटी रेलवे स्टेशन अंतर्गत रेलवे सुरक्षा बल और राजकीय रेलवे पुलिस का कोई सिपाही रात 12 बजे तक ड्यूटी पर निगरानी करते हुए नहीं नजर आया। रेलवे स्टेशन पर भी रात्रि गश्त करने वाले पुलिस कर्मियों का भी कहीं अता-पता नहीं था। दोनों थानों पर प्रभारी थानाध्यक्ष एवं सब-इंस्पेक्टर तक मौजूद नहीं थे। केवल मुंशी थानों में मौजूद मिले।

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