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बिहार के धनकुबेर अफसर ने पटना से लेकर नोएडा तक खरीदी प्रॉपर्टी, खुलवा रखे थे 17 बैंक खाते

गाजीपुर न्यूज़ टीम, पटना. भ्रष्‍टाचार की जड़ें इतनी लंबी और गहरी हैं कि उसे जितना खोदिए वह उतनी ही लंबी होती जाती है. भ्रष्‍टाचार का ऐसा ही एक मामला बिहार में सामने आया है. आर्थिक अपराध इकाई (EOW) ने जब रेत के अवैध खनन और रेता माफियाओं से सांठगांठ के आरोप में प्रदेश खनन विभाग के असिस्‍टेंट डायरेक्‍टर के खिलाफ कार्रवाई की तो उनकी आंखें भी फटी की फटी रह गईं. आरोपी अधिकारी संजय कुमार के पास 1 करोड़ 30 लाख रुपये की आय से अधिक संपत्ति का पता चला. इतना ही नहीं, इतनी कमाई कर ली कि पटना से नोएडा तक प्रॉपर्टी अर्जित कर ली. धनकुबेर अधिकारी पर सरकारी पद का दुरुपयोग करते हुए धन-संपत्ति अर्जित करने की शिकायत मिली थी, जिसके बाद EOW की टीमों ने बुधवार को उनके कई ठिकानों पर एक साथ छापेमारी की थी.

आर्थिक अपराध इकाई की टीम ने असिस्टेंट डायरेक्टर संजय कुमार के पटना के आर्य कुमार रोड स्थित आलीशान मकान और मेडिकल शॉप के अलावा खेतान मार्केट में स्थित खुशी लहंगा स्टोर में एक साथ छापेमारी की. संजय कुमार पर आरोप है कि उन्होंने बालू माफियाओं को फायदा पहुंचा कर काली कमाई के माध्यम से फ्लैट और दुकान खरीदी है. संजय कुमार पर इस बात को लेकर पहले से जांच चल रही थी कि सरकारी नौकरी में रहते हुए उन्होंने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए अकूत संपत्ति अर्जित की है. बुधवार को आर्थिक अपराध इकाई की टीम ने डीएसपी स्तर के अफसर के नेतृत्व में एक साथ इनके सभी ठिकानों पर छापेमारी की. इससे पहले मंगलवार को आय से अधिक संपत्ति से जुड़े केस नंबर 19/ 21 आर्थिक अपराध इकाई ने अपने थाने में दर्ज किया था. इसके बाद कोर्ट से रेड के लिए सर्च वारंट जारी करवाया गया था.

जानकारी के अनुसार, संजय कुमार 12 नवंबर 1987 को सरकारी नौकरी में नियुक्‍त हुए थे. इनके पास नोएडा में 3 बीएच और 1 बीएच के एक-एक फ्लैट होने का पता चला है. इसके अलावा पटना के खेतान मार्केट में शॉप नंबर 67/ 72 संजय कुमार का ही बताया जाता है. आरोपी अधिकारी और उनकी पत्नी के नाम से कुल 17 बैंक अकाउंट मिले हैं. इनमें से 16 बचत खाते हैं, जबकि एक करंट अकाउंट बताया जा रहा है. सभी खातों में कुल मिलाकर मिलाकर 1.58 करोड़ रुपये मिले हैं. इसके अलावा 66 लाख दूसरी जगहों पर निवेश करने की जानकारी भी मिली है.

कुल मिलाकर संजय कुमार के पास आय से 51% अधिक संपत्ति मिली है जो 1 करोड़ 30 लाख रुपए के बराबर है. एडीजी ने बताया कि कई घंटों तक आर्थिक अपराध इकाई की टीम ने संजय कुमार के ठिकानों पर छापेमारी की. उसके बाद उनके अवैध संपत्ति का पता चला है. बालू माफियाओं के साथ साठगांठ और इस अवैध खेल में शामिल संजय कुमार खनन विभाग के पहले सरकारी अफसर हैं जिनके खिलाफ इतनी बड़ी कार्रवाई की गई है. इससे पहले बालू के अवैध खनन और बालू माफियाओं से साठगांठ के आरोप में 6 अफसर और कर्मचारी आर्थिक अपराध इकाई के राडार पर आ चुके हैं.

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