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पुलिस भर्ती परीक्षा में पेपर लीक कराने वाले गैंग के दो आरोपित वाराणसी में गिरफ्तार

गाजीपुर न्यूज़ टीम, वाराणसी. पेपर लीक कराने वाले गैंग के दो सदस्यों को हिमाचल पुलिस ने मंगलवार को गिरफ्तार किया है। उन्हें ट्रांजिट रिमांड पर ले जाने के लिए पुलिस ने सीजेएम कोर्ट में पेश किया। अदालत ने उनकी अपील को मंजूर करते हुए चार दिन के अंदर कांगडा की अदालत में पेश करने का आदेश दिया है।

हिमाचल प्रदेश पुलिस आरक्षी भर्ती की लिखित परीक्षा का आयोजन 27 मार्च को किया गया था। परीक्षा से एक दिन पहले ही गैंग ने पेपर लीक करा कर अभ्यर्थियों को उपलब्ध करा दिया था। इस मामले में हिमाचल प्रदेश के कांगडा में मुकदमा दर्ज किया गया था। अब तक 52 आरोपितों को गिरफ्तार किया जा चुका है। गैंग के सदस्य शिवबहादुर सिंह के बनारस में मौजूद होने की जानकारी मिली। हिमाचल प्रदेश पुलिस ने एसटीएफ से सहयोग मांगा। निरीक्षक अनिल कुमार सिंह के नेतृत्व में एक टीम बनाई गई। टीम को पता चला कि आरोपित कैंटोनमेंट में मौजूद है। इस पर एसटीएफ व हिमाचल प्रदेश पुलिस की संयुक्त टीम ने घेरेबंदी करके उसे और उसके साथी गाजीपुर निवासी अखिलेश यादव को गिरफ्तार कर लिया। उनके पास से कार और मोबाइल बरामद हुआ।

2003 से सक्रिय है गैंग, कमाए 12 करोड़ रुपये

पूछताछ में बताया कि वर्ष 2003 से प्रतियोगी परीक्षाओं का पेपर लीक करने वाले बेदीराम गैंग का सक्रिय सदस्य है। तेलंगाना, पंजाब व चंडीगढ़ में आयोजित होने वाली विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं व भर्तियों का प्रश्न पत्र लीक कराने के मामले में कई बार जेल जा चुका है। इस काम से उसने अब तक लगभग 10 से 12 करोड़ रुपये कमाया है। उन्हीं रुपयों से विंध्यवासिनी नगर कालोनी अर्दली बाजार में तीन करोड़ रुपये में तीन मंजिला मकान खरीदा है। यहीं दूसरा मकान 40 लाख रुपये में एग्रीमेंट कराया है। हिमाचल प्रदेश पुलिस भर्ती परीक्षा के बारे में बताया कि उसका पेपर उपलब्ध होने पर 11 अभ्यर्थियों को चंडीगढ़ में परीक्षा से एक दिन पहले ही हल करा दिया गया था। इसके बदले अब तक सात लाख रुपये मिले हैं।

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