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माफिया मुख़्तार अंसारी को सता रही बड़ी चिंता, वकील से मुलाकात में बार-बार दोहराई एक ही बात

गाजीपुर न्यूज़ टीम, प्रयागराज. माफिया मुख्तार अंसारी को अपनी पत्नी और बेटों की चिंता सता रही है। वह अपने अधिवक्ता से मिलकर उनकी जमानत जल्द से जल्द कराने के लिए परेशान है। मुख्तार की पत्नी को ईडी ने वांछित किया है। उसके खिलाफ लुकआउट नोटिस जारी है। वहीं विधायक बेटे अब्बास अंसारी को ईडी को सिविल लाइंस स्थित दफ्तर से गिरफ्तार कर जेल भेजा था। मुख्तार अंसारी को खुद से ज्यादा परिवार की चिंता सता रही है। अधिवक्ता से मिलने के दौरान सिर्फ बेल कराने की बात करता है।

पुलिस रिकार्ड में माफिया मुख्तार अंसारी को कस्टडी रिमांड पर लेकर दस दिनों से ईडी दफ्तर में पूछताछ चल रही है। लेकिन हैरानी की बात यह है कि दस दिन में ईडी भी मुख्तार की पत्नी आफ्शां अंसारी का पता नहीं लगा सकी। मुख्तार से उसकी फरार पत्नी के बारे में पूछने पर कहा कि उसे जानकारी नहीं है। वह कई सालों से बांदा जेल में बंद है। जेल से उसके कैसे पता चलता है कि उसके घरवाले कहां पर हैं, कहां जा रहे हैं।

ईडी को मिली मुख्तार की पांच दिन की और हिरासत

आय से अधिक संपत्ति के एक मामले में मुख्तार अंसारी से प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम पांच दिन और पूछताछ कर सकेगी। शुक्रवार को सेशन जज संतोष राय ने मुख्तार अंसारी को ईडी की कस्टडी में और पांच दिनों के लिए सौंपने का आदेश दिया है। कोर्ट ने कहा कि आरोपित को ईडी 23 दिसंबर को दोपहर 2 बजे से 28 दिसंबर की दोपहर 2 बजे तक कस्टडी में पूछताछ इत्यादि के लिए सौंपा जाता है।

इसी मामले में मुख्तार अंसारी के बेटे विधायक अब्बास अंसारी और उसके रिश्तेदार आतिफ रजा की न्यायिक हिरासत की अवधि पांच जनवरी तक के लिए बढ़ा दी गई है। ईडी ने दोनों को पूर्व में हिरासत में लेकर पूछताछ की थी जिसके पश्चात इन दोनों जेल भेजने का आदेश हुआ था। यह अवधि शुक्रवार को समाप्त हो रही थी। मुख्तार की कस्टडी रिमांड के मामले में कोर्ट ने यह भी कहा कि आरोपित को हिरासत में लेने एवं हिरासत अवधि समाप्त होने पर न्यायिक अभिरक्षा में सौंपने के वक्त मेडिकल परीक्षण कराया जाएगा। 

साथ ही यह स्पष्ट चेतावनी दी है कि इस अवधि के दौरान किसी भी प्रकार की कोई थर्ड डिग्री प्रयोग कर उत्पीड़न नहीं किया जाएगा। मुख्तार अंसारी की ओर से न्यायालय के समक्ष जिन अधिवक्ताओं के इनरोलमेंट नंबर सहित वकालतनामा दाखिल किया था अदालत ने उनके संबंध में आदेश दिया कि इनमें से कोई एक अधिवक्ता इस अवधि में एक दिन में तीस मिनट मुख्तार अंसारी से संपर्क कर सकता है।

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