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7 साल तक की 15 हजार रुपये की नौकरी, 4 साल में बन गया 50 करोड़ का मालिक

ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम, ग्रेटर नोएडा। ठगी का कॉल सेंटर संचालित कर अमेरिका के नागरिकों को ठगने वाला अंकुर गुप्ता सिर्फ चार साल में ही 50 करोड़ का मालिक बन गया। वह साल 2004 से 2011 तक कॉल सेंटर में 15 हजार रुपये की नौकरी करता था। वह चार साल में ही ठगी का कॉल सेंटर चलाकर 50 करोड़ का मालिक बन गया।

अंकुर ने ठगी से कुल 100 करोड़ की कमाई की। इसमें 50 करोड़ अन्य कर्मचारियों और पार्टनर तरूण के बीच बंट गया, जबकि अंकुर के हिस्से में 50 करोड़ आए। इससे उसने महंगी लग्जरी गाड़ियां खरीदने के अलावा दिल्ली-एनसीआर में प्रॉपर्टी भी खरीदी। आरोपी नटवरलाल की भूमिका में पिछले कई सालों से है।

पूर्व में वह अमेरिका से एप्पल आइफोन की तस्करी कर हांगकांग के रास्ते चेन्नई में बेचने का काम भी कर चुका है। इसके बदले भी उसने मोटी रकम कमाई थी। एमबीए पास अंकुर शुरू ही जालसाजी में शामिल है।

सात साल तक कॉल सेंटरों में करता था काम

जांच के दौरान पता चला है कि सात साल तक अलग-अलग कॉल सेंटर में करने के बाद उसने वर्ष 2012 में करोल बाग दिल्ली में मोबाइल फोन इंपोर्ट करके दिल्ली, एनसीआर के मार्केट में बेचने का काम शुरू किया। इसी दौरान उसकी जान पहचान अमेरिका में रहने वाले नितिन सिंह से हुई, जिसने अंकुर को अमेरिका आइफोन को तस्करी करके हांगकांग के रास्ते चेन्नई में बेचने का काम शुरू कराया।

हिमांशु गुप्ता से सीखी ठगी की तकनीक

इसी काम के चलने के दौरान ही उसकी मुलाकात गुजरात के मुकेश शाह हुई। वर्ष 2019 में मुकेश ने हांगकांग में अंकुर की मुलाकात हिमांशु गुप्ता से कराई। हिमांशु गुप्ता फर्जी इंटरनेशनल कॉल सेंटर चलाकर अमेरिका के नागरिकों के साथ ठगी करता था। उससे काम सीखकर अंकुर ने चार सालों में कॉल सेंटर संचालित कर करोड़ों की ठगी कर ली। कॉल सेंटर चलाने के दौरान ही तरूण उसका पार्टनर बना। तरूण दिल्ली में पूर्व में मोबाइल रिपेयरिंग की दुकान चलाता था।

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