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वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन में बीवी को छोड़ने गया पति और बंद हुआ ऑटोमेटिक दरवाजा, फिर जो हुआ...जानें

ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम, नई दिल्ली. रेलवे स्टेशनों पर परिवार के सदस्यों या रिश्तेदारों को छोड़ने जाना आम बात है। इस तरह का अनुभव हम सभी के पास होगा। मगर, इस बात की कल्पना कीजिए कि आप ट्रेन में किसी शख्स को छोड़ने जाएं और उसके अंदर फंस जाएं। जी हां, हमने यह कोई काल्पनिक बात नहीं कही है बल्कि ऐसा सच में हुआ है। यह घटना गुजरात के एक व्यक्ति के साथ हुई जो वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन में अपनी बीवी को छोड़ने गया था। सामान कुछ ज्यादा था तो उन्होंने सोचा कि क्यों न मदद कर दी जाए। इस तरह वह भी अपनी पत्नी के साथ रेलवे स्टेशन पहुंच गए। मगर, यहां पर उनके साथ जो हुआ, उसकी कल्पना शायद ही किसी ने की हो। 
यह मजेदार घटना @imkosha नाम की एक्स यूजर ने शेयर की है। वडोदरा से मुंबई जाने वाली वंदे भारत ट्रेन में इस महिला के माता-पिता के साथ जो हुआ, उन्होंने इस बारे में बताया है। उन्होंने बताया, 'मुंबई जाने के लिए जब मेरी मां तैयार हो गईं, तो पापा ने उन्हें रेलवे स्टेशन तक छोड़ने का फैसला किया। उन्होंने अपनी कार निकाली और 2 भारी बैग रखकर मां को स्टेशन तक छोड़ने गए। यहां उन्होंने सामान ले जाकर मां के लिए बुक सीट के पास रख दिया। मेरे पापा ने यह सुनिश्चित किया कि मां आराम से बैठ सकें।' कोशा ने बताया कि इसी दौरान वंदे भारत ट्रेन के ऑटोमेटिक दरवाजे बंद हो गए। जब तक वह कुछ एक्शन ले पाते तब तक तो अंदर बंद हो चुके थे। 
 
कोशा ने बताया, 'मेरे पिता ने इस बारे में टिकट कलेक्टर को बताया। उन्होंने यह मांग रखी कि ट्रेन को इमरजेंसी के तौर पर रोक दिया जाए। मगर, बात नहीं बनी और ट्रेन काफी रफ्तार पकड़ चुकी थी। इस तरह मेरे पेरेंट्स ने पहली बार वंदे भारत ट्रेन में साथ में यात्रा की। मेरी मां मुंबई आ रही हैं। मगर, मेरे पापा अगले स्टेशन (सूरत) पर उतर गए।' महिला ने बताया कि पिताजी अब रात वाली पोशाक में ही वडोदरा के लिए वापसी टिकट का तलाश कर रहे हैं। इस बीच, हमारी कार तो वडोदरा रेलवे स्टेशन पर ही खड़ी है। उन्होंने गुजराती में मजाकिया अंदाज में लिखा, 'एक ही दिन में वंदे भारत और शताब्दी दोनों का अनुभव हो गया। यह तो प्रीमियम यात्रा हुई।'
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