यूपीएससी टॉपर शक्ति दुबे को DGP प्रशांत कुमार ने सम्मानित किया
ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम, लखनऊ. संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) 2024 की परीक्षा में ऑल इंडिया रैंक-1 हासिल कर इतिहास रचने वाली शक्ति दुबे शनिवार को उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ स्थित पुलिस मुख्यालय पहुंचीं। यहां राज्य के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) प्रशांत कुमार ने उन्हें सम्मानित किया। इस मौके पर शक्ति दुबे ने कहा कि सफलता के रास्ते में भाषा या माध्यम कभी बाधा नहीं बनते, जरूरत होती है तो सिर्फ दृढ़ संकल्प और लगातार मेहनत की।
पुलिस परिवार से ताल्लुक रखने वाली शक्ति दुबे ने पुलिस विभाग के अन्य अधिकारियों और कर्मचारियों के बच्चों से भी मुलाकात की, जो विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं। उन्होंने उनके सवालों के जवाब दिए और उन्हें सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया।
शक्ति दुबे ने अपनी सफलता की कहानी साझा करते हुए कहा कि चाहे हिंदी हो या अंग्रेजी, आप किसी भी माध्यम से यूपीएससी की तैयारी कर सकते हैं। खुद मैंने भी पांचवें प्रयास में सफलता पाई। कई बार असफलता मिलने पर भी हिम्मत हारने की बजाय अपनी कमियों पर काम करें और पूरे समर्पण से आगे बढ़ें। सफलता मेहनत की परीक्षा लेती है, शॉर्टकट की नहीं।
उन्होंने यह भी बताया कि आजकल ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स पर ढेरों उपयोगी कंटेंट उपलब्ध हैं, जिनका सही इस्तेमाल कर तैयारी को मजबूत किया जा सकता है। उन्होंने प्रतियोगी छात्रों को सुझाव दिया कि वे पिछले वर्षों के प्रश्न पत्र हल करें, ताकि परीक्षा के पैटर्न और आवश्यकताओं की बेहतर समझ विकसित हो सके। शक्ति दुबे ने कहा कि सिविल सेवा जैसी परीक्षाओं के लिए रोजाना 8 से 10 घंटे की पढ़ाई जरूरी होती है। इसके अलावा समसामयिक घटनाओं की जानकारी रखने के लिए रोजाना अखबार पढ़ने की आदत भी बनानी चाहिए।
डीजीपी प्रशांत कुमार ने कहा कि शक्ति दुबे का यूपीएससी में टॉप करना न सिर्फ उनके परिवार के लिए, बल्कि पूरे पुलिस विभाग और उत्तर प्रदेश के लिए गर्व का क्षण है। उनका संघर्ष और सफलता, पुलिस परिवार के अन्य बच्चों के लिए मिसाल है। शक्ति दुबे के पिता देवेंद्र कुमार द्विवेदी प्रयागराज पुलिस कमिश्नरेट में उपनिरीक्षक के पद पर तैनात हैं। शक्ति ने इलाहाबाद यूनिवर्सिटी से ग्रेजुएशन और बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी से बायोकेमिस्ट्री में एमएससी करने के बाद वर्ष 2018 में सिविल सेवा की तैयारी शुरू की थी।