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उत्तर प्रदेश में टेक्नोलॉजी हब बनाएगा माइक्रोसॉफ्ट, जल्द शुरू होगा काम

गाजीपुर न्यूज़ टीम, लखनऊ. कोरोना संक्रमण के इस दौर में विदेशी निवेशकों को आकर्षित करने के लिए किए गए वर्चुअल रोड-शो को बड़ी सफलता मिली है। माइक्रोसॉफ्ट इंडिया ने ग्रेटर नोएडा में विश्व स्तरीय टेक्नोलॉजी हब बनाने पर अपनी सहमति दी है। चार हजार लोगों की क्षमता का कैंपस कंपनी स्थापित करेगी। 

प्रदेश के सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने सोमवार को वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से प्रबंध निदेशक एवं कारपोरेट प्रेसिडेंट माइक्रोसॉफ्ट इंडिया राजीव कुमार से संवाद स्थापित किया। इस संवाद के दौरान औद्योगिक विकास आयुक्त आलोक टंडन ,अपर मुख्य सचिव एमएसएमई डा. नवनीत सहगल उपस्थित थे। संवाद के दौरान मंत्री ने राजीव कुमार से कहा कि कैंपस के लिए पर्याप्त मात्रा में भूमि उपलब्ध है, वे जब चाहें विजिट कर सकते हैं। 

माइक्रोसॉफ्ट को राज्य में मिलेगी रेड-कारपेट सुविधा
मंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने राज्य में निवेशकर्ताओं को हर संभ सहयोग और सुविधाएं मुहैया कराने की व्यवस्था की है। प्रदेश में माइक्रोसॉफ्ट कंपनी को कैम्पस की स्थापना के लिए राज्य सरकार रेड कारपेट की सुविधा देगी। उन्होंने कहा कि इस कैम्पस की स्थापना से भारत को इलेक्ट्रानिक हब बनाने की दिशा में उत्तर प्रदेश बहुत बड़ा मददगार साबित होगा। प्रदेश को तकनीकी के क्षेत्र में महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल होगी। कैम्पस की स्थापना से उत्तर प्रदेश तकनीकी के क्षेत्र में आत्मर्निभरता की ओर तेजी से अग्रसर होगा और यहां के युवा तकनीकी क्षेत्र में दक्ष होकर राज्य का गौरव बढ़ाएंगे।

मंत्री ने राजीव कुमार से यह भी कहा कि राज्य सरकार जेवर एयरपोर्ट के निकट इलेक्ट्रानिक सिटी स्थापित कर रही है। इस सिटी में स्थापित होने वाली इकाइयों को सभी आवश्यक सुविधाएं सुलभ कराने के लिए राज्य सरकार संकल्पित है। टीसीएस, विप्रो, हायर जैसी कंपनियां नोएडा/ग्रेटर नोएडा में अपना उद्यम स्थापित कर रही हैं। 

जल्द शुरू होगा कैंपस निर्माण का काम
राजीव कुमार ने प्रदेश सरकार के इन कदमों की तारीफ की। उन्होंने कहा कि कंपनी की टीम जल्द ही विजिट कर कैंपस के लिए भूमि देखेगी। जल्द से जल्द कैम्पस निर्माण की प्रकिया शुरू की जाएगी। उन्होंने कहा कि हैदराबाद तथा बंगलुरू में माइक्रोसॉफ्ट कंपनी के पास क्रमशः 5000 और 2000 की क्षमता का कैम्पस है। कंपनी उत्तर भारत में टेक्नोलॉजी हब बनाना चाहती है। इसके लिए ग्रेटर नोएडा/नोएडा को चुना गया है।
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