Today Breaking News

सरकारी पशु अस्पताल दुल्लहपुर की हालत नासाज है; इलाज के अभाव में मर रहे पशु - Ghazipur News

ग़ाज़ीपुर न्यूज़ टीम, गाजीपुर. गाजीपुर में स्थित सरकारी पशु अस्पताल दुल्लहपुर की स्थिति नासाज है। पशुपालक आते ही बिना इलाज कराए ही वापस चले जाना अपने को मुनासिब समझते हैं। आठ न्याय पंचायत के 32 गांवों के इलाज के लिए बना दुल्लहपुर सरकारी पशु अस्पताल अब दम तोड़ते हुए नजर आ रहा है। अस्पताल में बदहाली के अलावा कुछ भी नहीं है।

शासन के निर्देश पर रोजाना चल रहे विकसित भारत संकल्प यात्रा कार्यक्रम सहित और कार्यक्रमों में भी यहां के प्रभारी को शामिल होना पड़ता है। जिसके चलते यह अस्पताल सुनसान नजर आ रहा है। पशुओं के इलाज के लिए पशुपालक को इधर-उधर भटकना पड़ रहा हैं। क्षेत्र में इलाज के अभाव में कई पशुओं के मरने की सूचना भी है।

समस्या के समाधान की मांग

51000 आबादी की क्षेत्र में सैकड़ो पशुपालक ने अपने पशुओं को बेहतर तरीके से सेवा करते हुए उसका दूध, मक्खन, घी और दही बेचकर अपने कारोबार का जरिया बनाया है। लेकिन पशु को कोई गंभीर बीमारी हो तो उसके इलाज के लिए चिकित्सा मिलना मुश्किल हो गया है। पशु पलको ने सरकार से जल्द समस्या के समाधान की मांग की है।

पूर्व में डिप्टी सीएम बृजेश पाठक ने अस्पतालों की बेहतर व्यवस्था के लिए तमाम निर्देश दिए थे। लेकिन दुल्लहपुर राजकीय पशु अस्पताल आज तक अपने बदहाली से उभर नहीं पाया। यहां के जितने भवन हैं, सब जर्जर हो चुके हैं। किसी तरह राम भरोसे चिकित्सक अपने दवा को इधर-उधर रखते हुए नाम मात्र इलाज कर पाते हैं।

आधे दर्जन पोस्ट खाली-डॉक्टर चंद्रमणि

सरकारी पशु अस्पताल के चिकित्सक डॉक्टर चंद्रमणि मौर्य ने बताया कि यहां पर आधे दर्जन पोस्ट कई वर्षों से खाली चल रहे हैं। इसके लिए मीटिंग में कई बार उच्च अधिकारियों का अवगत कराया गया लेकिन एक भी कर्मचारी, फार्मासिस्ट नहीं आए। किसी तरह हम लोग काम चलाते हैं। साथ ही यहां का भवन पूरी तरह से जर्जर है। बरसात के मौसम में दवा को इधर-उधर रखना पड़ता है। मीटिंग होने पर कई बार इसकी शिकायत उच्च अधिकारियों से की गई लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो पाई।

'